
15 अगस्त 2025 की यह संध्या केवल स्वतंत्रता दिवस की गरिमा से नहीं, बल्कि जन्माष्टमी की आभा से भी अनुपम बन गई। रुद्रपुर, जो आम दिनों में एक औद्योगिक और व्यापारिक केंद्र के रूप में जाना जाता है, आज आध्यात्मिक नगरी में रूपांतरित हो गया।।✍️ अवतार सिंह बिष्ट | हिंदुस्तान ग्लोबल टाइम्स, रुद्रपुर (उत्तराखंड राज्य निर्माण आंदोलनकारी) गलियां, बाजार, चौक, मंदिर—सब कुछ श्रीकृष्ण के प्रेम और भक्ति में डूबा हुआ था।
जन्माष्टमी का पर्व केवल भगवान के जन्म का उत्सव नहीं, बल्कि यह स्मरण कराता है कि धर्म, सत्य और प्रेम की जीत हमेशा होती है। श्रीकृष्ण का जीवन संदेश—“यदा यदा हि धर्मस्य ग्लानिर्भवति…”—आज भी हमें यह प्रेरणा देता है कि अन्याय और अधर्म के सामने कभी झुकना नहीं चाहिए।
शोभायात्रा का भव्य वर्णन?शाम 6:00 बजे, जैसे ही मटके वाली गली से पहला शंखनाद गूंजा, भीड़ का सैलाब उमड़ पड़ा। सबसे आगे घोड़ों पर सवार प्रथम पंक्ति के सदस्य थे, हाथों में लहराता भगवा ध्वज, आंखों में भक्ति का तेज। आयोजन समिति के ये सदस्य मानो व्रजभूमि के सेवक बनकर रथ का मार्ग प्रशस्त कर रहे थे।


इनके ठीक पीछे रुद्रपुर विधायक शिव अरोड़ा थे, जो हाथ जोड़कर नगरवासियों का अभिवादन कर रहे थे। उनके साथ रुद्रपुर महापौर विकास शर्मा, कमल जिंदल , अमित नारंग,सुशील गावा व्यापार मंडल के अध्यक्ष संजय जुनेजा, विजय फुटेला,मनोज छाबड़ा ,संदीप कुमार , भारत भूषण चुग, ललित मिगलानी, भारत भूषण गर्ग,मयंक कक्कड़, पूर्व मेयर रामपाल सिंह,जगदीश तनेजा,बलविंदर सिंह विर्क, ओमप्रकाश अरोरा, निर्मल सिंह, विनीत जैन, सुरमुख सिंह विर्क, हरीश जल्होत्रा, अमित अरोरा, विशाल भुड्डी, अजय चड्ढा, देवीशंकर अग्रवाल थे, जो जन-जन से कृष्ण जन्मोत्सव की शुभकामनाएं बांट रहे थे।
इसके बाद झांकियों का सिलसिला शुरू हुआ — और सच कहें तो वह रुकने का नाम ही नहीं ले रहा था।
सौ से अधिक झांकियां — प्रत्येक झांकी एक अलग आध्यात्मिक कथा कह रही थी।
शंकर-पार्वती की झांकी — भक्तों की भीड़ “हर-हर महादेव” के जयकारों से गूंज रही थी।
गणेश भगवान की झांकी — छोटे बच्चे गणपति के भजन गा रहे थे।
पांच मंदिर की झांकी — रुद्रपुर के प्रतिष्ठित मंदिरों में से एक की भव्य प्रस्तुति, जिसमें शंख, घंटियों और पुष्पों से सजावट की गई थी।
शोभायात्रा में रुद्रपुर किच्छा विधायक तिलक राज बहेड़,पूर्व विधायक राजकुमार ठुकराल, समाजसेवी संजय ठुकराल सचिन मुंजाल आदि सम्मिलित हुए, जो हर जगह रुककर लोगों का अभिवादन कर रहे थे और जन्माष्टमी की बधाई दे रहे थे।
श्री कृष्णा शोभा यात्रा रुद्रपुर सनातन धर्म सभा, लक्ष्मी नारायण पांच मंदिर व अग्रवाल सभा शोभा द्वारा यात्रा निकाली गई
मुख्य बाजार से लेकर मटके वाली गली के मोड़ तक पुष्पवर्षा हो रही थी। महिलाएं आरती की थाल लेकर खड़ी थीं, और व्यापारी संगठन ने स्वागत द्वार सजाए थे। रुद्रपुर का प्रसिद्ध बैंड दल ढोल-नगाड़ों और तुरही की धुन पर वातावरण को और भी मंगलमय बना रहा था।
संपादकीय :।✍️ अवतार सिंह बिष्ट | हिंदुस्तान ग्लोबल टाइम्स, रुद्रपुर (उत्तराखंड राज्य निर्माण आंदोलनकारी)रुद्रपुर की यह शोभायात्रा केवल धार्मिक आयोजन नहीं, बल्कि सांस्कृतिक एकता का उदाहरण है। इसने यह साबित किया कि जब समुदाय एक लक्ष्य और एक भावना के साथ आगे बढ़ता है, तो शहर के हर कोने में प्रेम और भाईचारा खिल उठता है।
यह आयोजन समिति की मेहनत और दूरदृष्टि का परिणाम था कि सौ से अधिक झांकियां, सैकड़ों स्कूली बच्चे, व्यापारी, सामाजिक संगठन, और हजारों नागरिक एक साथ सम्मिलित हुए।
विधायक शिव अरोड़ा, किच्छा विधायक तिलक राज बहेड़,महापौर विकास शर्मा, पूर्व विधायक राजकुमार ठुकराल, और व्यापार मंडल अध्यक्ष संजय जुनेजा की उपस्थिति ने नगर को यह संदेश दिया कि धार्मिक व सांस्कृतिक आयोजनों में नेतृत्व का भी कंधा-कंधा मिलाकर चलना आवश्यक है।इस शोभायात्रा में जिस तरह शिव, गणेश और कृष्ण की झांकियां साथ चल रही थीं, उसने यह सिद्ध कर दिया कि भारतीय संस्कृति में विभिन्न देवताओं की भक्ति आपसी विभाजन नहीं, बल्कि एकता का प्रतीक है।आध्यात्मिक संदेश:
श्रीकृष्ण का जन्म केवल एक ऐतिहासिक घटना नहीं, बल्कि यह संकेत है कि जब भी अधर्म बढ़ेगा, तब धर्म की स्थापना के लिए कोई न कोई कृष्ण अवतरित होगा — चाहे वह एक संत हो, एक नेता हो, या एक सामान्य नागरिक जो सत्य और न्याय के लिए खड़ा हो।
रुद्रपुर की यह ऐतिहासिक शोभायात्रा हमें यह भी याद दिलाती है कि आस्था और संस्कृति केवल परंपरा से नहीं, बल्कि सक्रिय भागीदारी और प्रेम से जीवित रहती है। शोभायात्रा में रुद्रपुर के प्रमुख व्यक्तियों में मोहन खेड़ा हरीश अरोड़ा,डॉ. बाबूराम अरोड़ा, हरीश बत्रा, वेद ठुकराल, सोनू रोहेला, नीरज रस्तोगी, राजेश रोहेला, अनिल प्रजापति,समाजसेवी, रामचंद्र प्रजापति, अरुण सक्सेना, डॉ. बाबूराम अरोड़ा, हरीश बत्रा, सोनू रोहेला, नीरज रस्तोगी, राजेश रोहेला
क्रमशः…………


