


प्रधान हरबंश सिंह चुघ पुत्र रंजीत सिंह चुघ निवासी गदरपुर तथा बाबा अनूप सिंह पुत्र राम सिंह निवासी ग्राम नवाबगंज थाना विलासपुर जिला रामपुर की भूमिका इस हत्या के संबंध में पूरी तरह संदिग्ध है। प्रीतम सिंह संधू के विरुद्ध रक्षपाल सिंह द्वारा पूर्व में आत्महत्या के लिए उकसाये जाने का मुकदमा लिखाया था जिसमें बाबा तरसेम सिंह, रक्षपाल सिंह की मदद कर रहे थे। इस घटनाक्रम की साजिश में बाबा अनूप सिंह, प्रीतम सिंह संधू व हरवंश सिंह चुघ के अलावा अन्य कई लोग भी शामिल हो सकते हैं। तहरीर में कहा गया है कि घटना से लगभग पांच दिन पहले फतेहजीत सिंह खालसा निवासी ग्राम विलहरा थाना अमरिया ज0 पीलीभीत द्वारा अपने फेसबुस पेज से एक पोस्ट डाली थी जो गुरूमुखी में थी। उक्त फतेह सिंह भी उपरोक्त अंकित लोगों का ही साथी है। यह संदेह है कि यह भी बाबा तरतेम सिंह की हत्या के षडयंत्र में शामिल हो सकता है। इस पोस्ट से ऐसा प्रतीत होता है कि यह बाबा जी की हत्या के सबंध में की गई है । पुलिस ने तहरीर के आधार पर पांच लोगों को नामजद करते हुए केस दर्ज किया है। तहरीर के आधार पर पुलिस मामले की जांच कर रही है।


बाबा तरसेम सिंह हत्याकांड मामले में आरोपियों के नाम का हुआ बड़ा खुलासा, श्री नानकमत्ता साहिब के अध्यक्ष समेत इन लोगों पर मुकदमा दर्ज…*

जिले में बीते दिन नानकमत्ता में हुई बाबा तरसेम सिंह की हत्या में पुलिस ने आज नामजद आरोपियों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया गया..
28 मार्च सुबह करीब 6.13 बजे बाबा तरसेम सिंह की डेरे के बाहर बाइक सवार दो बदमाशों ने गोली मारकर हत्या कर दी।
बाबा तरसेम सिंह हत्याकांड मामले में नामजद आरोपियों पर मुकदमा दर्ज किया गया है। आरोपियों में सर्वजीत सिंह निवासी ग्राम मियाविंड जिला तरन तारण पंजाब, बाइक पर पीछे बैठा अमरजीत सिंह उर्फ बिट्टू निवासी ग्राम सिहोरा बिलासपुर यूपी को मुख्य आरोपी बनाया गया है।


इसके अलावा संदेह के आधार पर गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी श्री नानकमत्ता साहिब के प्रधान और पूर्व आईएएस हरबंस सिंह चुघ, तराई महासभा के उपाध्यक्ष प्रीतम सिंह संधू निवासी खेमपुर गदरपुर और गुरुद्वारा श्री हर गोविंद सिंह, रतनपुरा नवाबगंज के मुख्य जत्थेदार बाबा अनूप सिह को आरोपी बनाया गया है।
डेरा कार सेवा के जत्थेदार बाबा तरसेम सिंह हत्याकांड के मामले में तहरीर के आधार गुरूद्वारा प्रबंध कमेटी के अध्यक्ष समेत पांच लोगों पर हत्या का केस दर्ज किया गया है। बता दें जत्थेदार बाबा तरसेम सिंह की गुरूवार प्रातः दो बदमाशों ने गोली मारकर हत्या कर दी थी। मामले में नामजद आरोपियों पर मुकदमा दर्ज किया गया है। आरोपियों में गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी श्री नानकमत्ता साहिब के अध्यक्ष और पूर्व आईएएस हरबंस सिंह चुघ, तराई महासभा के अध्यक्ष प्रीतम सिंह संधू, नवाबगंज यूपी डेरे के बाबा अनूप सिंह, शामिल है। सेवादार जसवीर सिंह पुत्र हरवंश सिंह निवासी ग्राम चारूबेटा मुडेली खटीमा की ओर से दी गयी तहरीर में कहा गया है कि डेरा प्रमुख जत्थेदार बाबा तरसेम सिंह गुरूवार को डेरा परिसर में लंगरहाल के बाहर अहाते में सुबह कुर्सी पर बैठे हुए थे तथा डेरे में संबंधित कार्यों को निपटा रहे थे। तभी करीब सवा छह बजे प्रातः एक काले रंग की स्प्लेंडर मोटरसाइकिल पर दो सिख व्यक्ति डेरे के अहाते में मुख्य द्वार से दाखिल हुए। पीछे बैठे व्यक्ति के हाथ में स्वचालित राइफल जैसा हथियार था। बाबा तरसेम सिंह के नजदीक आते ही पीछे बैठे व्यक्ति ने सामने से बाबा जी को गोली मार दी। बाबा जी कुर्सी से उठकर खड़े होकर घूमें तो मोटरसाइकिल को कुर्सी के पीछे से घुमाते हुए दो गोलियां और मार दी। मोटर साइकिल को रोके बिना उक्त लोग दक्षिण दिशा को भाग गए। उक्त दोनों लोगों को बाबा जी पर गोली चलाते देख जसपाल सिंह पुत्र मंगल सिंह भागा तो उन लोगों द्वारा जसपाल सिंह को धमकाते हुए एक गोली और चलायी जो लंगर हाल के दरवाजे के उत्तरी पिलर में लगी। तभी लंगर के अहाते में मौजूद गुरुचरन सिंह उर्फ चन्ना पुत्र श्री हरदयाल सिंह निवासी ग्राम जगत थाना अमरिया जिला पीलीभीत उत्तर प्रदेश हीरा सिंह पुत्र अमर सिंह निवासी ग्राम ढकियाजलालपुर थाना करेली जिला पीलीभीत, महेन्दर सिंह पुत्र करतार सिंह निवासी ग्राम सुनपहर थारा खटीमां सभी हाल निवासी डेरा कार सेवा नानकमत्ता, देवेन्दर सिंह उर्फ मिन्टू बाबा जी की ओर दौडे। तहरीर में जसवीर सिंह ने आगे कहा कि वह डेरे में मौजूद बाबा जी के बैठने के स्थान से पूर्व दिशा में सामने की तरफ कमरे के दरवाजे में खड़े थे तथा निरवैल सिंह पुत्र कश्मीर सिह निवासी डेरा कार सेवा नानकमत्ता जो कि बाबा जी के बैठने के स्थान से पश्चिम की तरह लंगर हाल के गेट में खडे थे ने दोनों हमलावरों को ठीक से घटना घटित करते हुए सबने देखा है। उक्त दोनों हमलावर 19 मार्च 2024 से गुरुद्वारा परिसर में ही स्थित भाई मरदाना यात्री निवास नानकमत्ता के कमरा नम्बर 23 में ठहरे हुए थे। उसने व निरवैर सिंह ने इन दोनों हमलावरों को डेरा करा सेवा परिसर में दो दिन पहले भी घूमते हुए देखा था। इन दोनो हमलावरों में से एक ने यात्री निवास के यात्री रजिस्टर में अपना आधार कार्ड संख्या 732717430208 देकर अपना नाम सर्वजीत सिंह पुत्र स्वरूप सिंह निवासी ग्राम मियाविंड जिला तरनताराण ;पंजाबद्ध दर्ज कराया था। उक्त लोग सराय में बिना किसी निजी वाहन आए थे तथा उनके पास सराय में रहने के दौरान कोई हथियार भी नहीं देखा गया था। घटना के समय प्रयुक्त मोटरसाइकिल व हथियार किसी स्थानीय व्यक्ति ने साजिश के तहत उन्हें उपलब्ध करायी थी। घटना में दूसरा व्यक्ति जो मोटरसाईकिल के पीछ बैठा था, ज्ञात हुआ है कि उसका नाम अमरजीत सिंह उफ बिट्टðु उर्फ गंडा पुत्र सुरेन्दर सिंह ग्राम सिहौरा थाना बिलासपुर जिला रामपुर है। बाबा तरसेम सिंह डेरा कार सेवा गुरुद्वारा साहिब की संपति को खुर्द -बुर्द होने से रोकते थे, इसी कारण तराई महासभा के उपाध्यक्ष प्रीतम सिंह संधू पुत्र लाल सिंह निवासी ग्राम खेमपुर थाना गदरपुर तथा गुरुद्वारा प्रबंध समिति के प्रधान हरबंश सिंह चुघ पुत्र रंजीत सिंह चुघ निवासी गदरपुर तथा बाबा अनूप सिंह पुत्र राम सिंह निवासी ग्राम नवाबगंज थाना विलासपुर जिला रामपुर की भूमिका इस हत्या के संबंध में पूरी तरह संदिग्ध है। प्रीतम सिंह संधू के विरुद्ध रक्षपाल सिंह द्वारा पूर्व में आत्महत्या के लिए उकसाये जाने का मुकदमा लिखाया था जिसमें बाबा तरसेम सिंह, रक्षपाल सिंह की मदद कर रहे थे। इस घटनाक्रम की साजिश में बाबा अनूप सिंह, प्रीतम सिंह संधू व हरवंश सिंह चुघ के अलावा अन्य कई लोग भी शामिल हो सकते हैं। तहरीर में कहा गया है कि घटना से लगभग पांच दिन पहले फतेहजीत सिंह खालसा निवासी ग्राम विलहरा थाना अमरिया ज0 पीलीभीत द्वारा अपने फेसबुस पेज से एक पोस्ट डाली थी जो गुरूमुखी में थी। उक्त फतेह सिंह भी उपरोक्त अंकित लोगों का ही साथी है। यह संदेह है कि यह भी बाबा तरतेम सिंह की हत्या के षडयंत्र में शामिल हो सकता है। इस पोस्ट से ऐसा प्रतीत होता है कि यह बाबा जी की हत्या के सबंध में की गई है । पुलिस ने तहरीर के आधार पर पांच लोगों को नामजद करते हुए केस दर्ज किया है। तहरीर के आधार पर पुलिस मामले की जांच कर रही है।

कड़ी सुरक्षा के बीच हुआ अंतिम संस्कार, आस पास और दूर दराज से हजारों की संख्या में पहुंची संगत
नानकमत्ता। धार्मिक डेरा कार सेवा के बाबा तरसेम सिंह के अंतिम संस्कार में आस पास एवं दूर दराज से संगत का जन सैलाब उमड़ पड़ा। गमगीन माहौल में डेरा कार सेवा में उनके अंतिम दर्शन करने के बाद पुलिस की कड़ी सुरक्षा में दूध वाले कुएं के समीप उनका अंतिम संस्कार किया गया। इस दौरान हजारों की तादात मे आई संगत की आंखें नम हो गई। गौरतलब है कि गुरूवार की प्रातः करीब साढ़ छह बजे धार्मिक डेरा कार सेवा के बाबा तरसेम सिंह की डेरे में ही बाइक सवार दो बदमाशों ने राइफल से गोली मारकर हत्या कर दी थी। दिवंगत कार सेवा बाबा का पार्थिव शरीर उनके अंतिम दर्शनों के लिए डेरा कार सेवा में रखा गया था, जहां दूरदराज से हजारों की संख्या में आई संगत ने उनके अंतिम दर्शन कर उनको श्रद्धांजलि अर्पित की। अंतिम दर्शन करने के बाद पुलिस की कड़ी सुरक्षा में बाबा तरसेम सिंह का अंतिम संस्कार दूध वाले कुआं के समीप किया गया। जहां कार सेवा बाबा की चिता को मुखाग्नि कार सेवा के बाबा बचन सिंह ने दी। अंतिम संस्कार के दौरान आस पास व दूर-दराज से आई संगत की आंखें नम हो गई। अंतिम संस्कार के बाद डेरा कार सेवा में अटूट लंगर भी बरता गया। इस मौके परबाबा श्याम सिंह, दिलबाग सिंह, बाबा सतनाम सिंह बाबा श्याम सिंह, बाबा लखबीर सिंह, दारा सिंह,नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य, विधायक गोपाल सिंह राणा,विधायक शिव अरोड़ा,पूर्व विधायक प्रेम सिंह राणा, पूर्व विधायक नारायण पाल, राजपाल सिंह आदि मौजूद थे।

