हमास ने ग़ज़ा संघर्ष विराम के तहत शनिवार को दूसरी अदला-बदली में चार इसराइली बंधकों को रिहा कर दिया.ग़ज़ा सिटी में करीना एरिएव, डेनिएला गिल्बोओ, लेवी और लिरी अल्बाग को रेड क्रॉस को सौंपा गया.

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इसके बदले इसराइल में बंद 200 फ़लस्तीनी क़ैदियों को इसराइली सेना रिहा करने वाली है.

सात अक्तूबर 2023 को जब हमास ने इसराइल पर हमला किया था तो ग़ज़ा सीमा के पास नाहाल ओज़ आर्मी बेस पर ये चारो महिला सैनिक ऑब्ज़र्वर के रूप में तैनात थीं.

19 जनवरी 2025, यानी, पिछले रविवार को संघर्ष विराम लागू हुआ है. उसके बाद इस तरह का यह दूसरी अदला-बदली है.

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पहली अदला-बदली में तीन इसराइली बंधक और 90 फ़लस्तीनी क़ैदी आज़ाद किए गए थे.

संघर्ष विराम के पहले चरण के तहत छह सप्ताह के दौरान कुल 33 बंधकों को रिहा किया जाना है.

सात अक्तूबर 2023 को हमास की ओर से इसराइल पर हमला किया गया था, जिसमें 1200 इसराइली लोगों की मौत हुई थी. इस हमले में हमास की ओर से 251 इसराइली लोगों को बंधक बनाया गया था.

हमले के बाद इसराइल की ओर से की गई जवाबी कार्रवाई में हमास संचालित स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार 47,200 फ़लस्तीनियों की मौत हुई है, जिनमें अधिकांश महिलाएं और बच्चे हैं.

करीना एरिएव

सात अक्तूबर 2023 को जब 20 साल की करीना एरिएव का अपहरण किया गया तो वो नाहाल ओज़ आर्मी बेस पर तैनात थीं.

उनकी बहन एलेक्ज़ेंड्रा ने बीबीसी को बताया कि हमले के दौरान करीना ने उन्हें कॉल किया था और उस दौरान गोली चलने की आवाज़ उन्होंने सुनी थी, बाद में उन्होंने एक वीडियो देखा जिसमें उन्हें एक गाड़ी में ले जाया जा रहा था.

उन्होंने कहा, “उसने मुझे अलविदा कहने के लिए फ़ोन किया था, हम गोलीबारी की आवाज़ सुन सकते थे.”

“वो बहुत डरी हुई थी, चिल्ला रही थी और बहुत घबराई हुई थी. उसका अंतिम संदेश था- ‘वे यहां हैं,’ बम शेल्टर में. उसके साथ हमारा यही आख़िरी संपर्क था.”

इसके बाद एलेक्ज़ेंड्रा ने करीना के अपहरण के बारे में टेलीग्राम पर प्रसारित एक वीडियो को देखा. इसमें उन्होंने अपनी बहन को पहचाना, “उसके चेहरे पर खून लगा था, वो चिल्ला रही थी.”

एलेक्ज़ेंड्रा ने बीबीसी को बताया, “मैं नहीं चाहूंगी कि ऐसे दौर से कोई गुजरे. मानों समय रुक गया है.”

नामा लेवी

20 साल की नामा लेवी को जीप में ले जाते हुए वीडियो बनाया गया था. उनके हाथ को उनकी पीठ पर बांधा गया था. इस वीडियो को हमास ने जारी किया था और सोशल मीडिया पर इसे बहुत बार साझा किया गया.

उनकी मां के अनुसार, नामा लेवी ने अपनी सैन्य सेवा बस शुरू की ही थी.

हालांकि वो इससे पहले इसराइली-फ़लस्तीन शांति पहलकदमी का हिस्सा रही थीं और उनका परिवार उन्हें ‘शांति समर्थक’ कहता था.

नाहाल ओज़ आर्मी बेस से उनके अपहरण के एक वीडियो में उन्हें अपहरणकर्ताओं से अंग्रेज़ी में कहते सुना गया था: “फ़लस्तीन में मेरे दोस्त हैं.”

मई 2024 में उनके भाई अमित ने कहा था कि उनके परिवार ने, ‘असहनीय मानवीय त्रासदी’ को हल करने के लिए ‘सभी पक्षों को वार्ता की मेज पर लौटने को प्रोत्साहित करने के लिए’ फ़ुटेज जारी किया था.

“हमें लगता है कि वो हालात को एक सुपर हीरो की तरह ही संभाल रही है, जैसी वो है, अपनी जिंदगी के लिए लड़ते एक हीरो जैसी.”

डैनिएला गिल्बोओ

नाहाल ओज़ में अन्य महिला सैनिकों के साथ जब 20 साल की डैनिएला गिल्बोओ का अपहरण किया गया तो उनके पैर में चोट लग गई थी.

उन्हें कई वीडियो में देखा गया था और पिछले साल एक वीडियो में उन्होंने इसराइली सरकार से पूछा था कि जब आस पास युद्ध चल रहा था, तो बंधकों को क्यों ऐसे ही बेसहारा छोड़ दिया गया.

गिल्बोओ की मां ओर्ली ने यरूशलम पोस्ट को बताया था कि वीडियो ने दिखाया कि उनकी बेटी “मजबूत और दृढ़” थी और 7 अक्तूबर को जो चोट लगी थी, वो उतनी गंभीर नहीं थी, जितना लग रहा था.

हालांकि उन्होंने कहा कि वह उनके “ख़राब मानसिक स्थिति” को लेकर चिंतित थीं.

इस बीच उनके ब्वॉयफ़्रेंड के पिता ने बताया कि उनका बेटा डैनिएला के लौटने का इंतजार कर रहा है और उसने शादी का प्रस्ताव देने की योजना बनाई है.

पिता ने कहा, “मेरे बेटे ने उनके माता पिता से शादी के बारे में पूछा, जिसका उन्होंने हां में जवाब दिया, हालांकि वे अभी 19-20 साल के ही हैं. इसके बाद वह आसमान की ओर देख कर चिल्लाया- मैं तुम्हें प्रपोज़ करने जा रहा हूं.”

“वो ईश्वर से उनके लौटने और मिलने की प्रार्थना करता रहा है.”

लिरी अल्बाग

सात अक्तूबर के हमले समय लिरी अल्बाग 18 साल की थीं और इसके ठीक पहले ही सैन्य ट्रेनिंग की शुरुआत की थी.

उनकी कज़िन आया अल्बाग सेना में कार्पोरल हैं. उन्होंने कहा कि लिरी ने कहा था कि सेना में शामिल होने पर उसे ‘गर्व’ है.

आया अल्बाग ने यरूशलम पोस्ट से कहा, “वो बहुत दृढ़ और बहुत खुश थी कि उसे नाहाल ओज़ में तैनाती मिली है.”

“उसने अपनी ड्यूटी गुरुवार को शुरू की और इसके तीसरे दिन ही शनिवार की सुबह उसे किडनैप कर लिया गया.”

उनके परिवार का कहना है कि पहले रिहा किए गए बंधकों के माध्यम से वह किसी तरह संदेश भेजने में कामयाब रहीं.

अल्बाग अब 19 साल की हो गई हैं. उनका एक फ़ुटेज हमास ने जनवरी 2024 में जारी किया था.

इसमें वो यह कहते हुए दिखाई दे रही हैं, “मैं केवल 19 साल की हूं. मेरे सामने पूरी ज़िंदगी पड़ी है, लेकिन अभी मेरी पूरी ज़िंदगी रुक सी गई है.”

“दुनिया को हमारी फ़िक्र नहीं रही. किसी को भी हमारी परवाह नहीं है. हम एक दुःस्वप्न में जी रहे हैं.”

ताज़ा संघर्ष विराम में और कौन से बंधक छोड़े गए


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