उ त्तराखंड प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) की टीमों ने बृहस्पतिवार को महोली के बद्दापुर गांव के पैतृक निवासी उत्तराखंड के पीसीएस अफसर दिनेश प्रताप सिंह के आवास को खंगाला। सुबह करीब सात बजे छह इनोवा गाड़ियों से पहुंची ईडी की दो टीमों ने दो अलग-अलग स्थानों पर छापा मारा।

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इसमें एक दिनेश प्रताप सिंह का पैतृक आवास और दूसरा भुड़िया गांव निवासी राजेश सिंह का घर था।

दिनेश प्रताप सिंह उत्तराखंड डोईवाला चीनी मिल में कार्यकारी निदेशक के पद पर तैनात हैं। उन पर वर्ष 2017 में एनएच 74 चौड़ीकरण के नाम पर करीब 200 करोड़ से अधिक की धनराशि के गबन का आरोप है। इसी घोटाले की कड़ियां खोजते हुए ईडी टीम बृहस्पतिवार को उनके आवास पहुंची।

सूत्रों के अनुसार ईडी को बद्दापुर में दिनेश प्रताप सिंह के भाई नरेंद्र सिंह मिले। ईडी ने नरेंद्र सिंह से लंबी पूछताछ की। 12 घंटे से अधिक चली पूछताछ में ईडी के अधिकारियों ने पैतृक संपत्ति, नरेंद्र सिंह के कारोबार, नरेंद्र सिंह के पार्टनर भुड़िया निवासी राजेश सिंह के कारोबार की जानकारी हासिल की। घर से कई दस्तावेज भी जब्त किए। ईडी ने कई लेनदेन के कागज दिखाकर सवाल पूछे।

भुड़िया गांव में सरकारी गाड़ियों की रही आवाजाही

भुड़िया गांव में कारोबारी राजेश सिंह का मकान है। वहां भी सुबह सात बजे ईडी के अधिकारी पहुंच गए। उनसे भी लंबी पूछताछ की गई। इस दौरान राजेश सिंह के पेट्रोल पंप पर सन्नाटा पसरा रहा। भुड़िया गांव में सरकारी गाड़ियों की आवाजाही से ग्रामीणों को शक हुआ। जब ग्रामीणों ने पूछा कि राजेश सिंह के घर से कोई बाहर क्यों नहीं निकल रहा और यह कौन लोग आए हैं तो ग्रामीणों को बताया गया कि रिश्तेदार आए हुए हैं।

ईडी के रडार पर राजेश व नरेंद्र का कारोबार

राजेश पहले किसी सेठ के यहां मुनीम थे। नरेंद्र की किस्मत भी भाई के पीसीएस अफसर बनने के बाद खुली। अचानक राजेश पेट्रोल पंप के अलावा कई कारोबार करने लगे। दोनों के करोड़ों रुपयों के कारोबार पर ईडी की पैनी नजर है। ईडी को शक है कि उत्तराखंड घोटाले की रकम इन्हीं दोनों के कारोबार के माध्यम से खपाई गई है।

तीन हजार वर्ग फुट में बना है आलीशान मकान

दिनेश प्रताप सिंह का पैतृक आवास तीन हजार वर्ग फुट में बना है। सफेद रंग की बाउंड्रीवाॅल से घिरे इस मकान में सुख-सुविधाओं की भरमार है। हर कमरे में एसी लगा है। इस परिवार की गिनती काफी धनाढ्य परिवारों में होती है। हालांकि ग्रामीणों के अनुसार यह परिवार अक्सर सबकी मदद भी करता है।

…तो कांग्रेस से जुड़ाव के कारण भी टेढ़ी है ईडी की नजर

दिनेश प्रताप सिंह की पत्नी अलका सिंह राजनीति में सक्रिय रही हैं। अलका सिंह ने वर्ष 2022 के विधानसभा चुनाव में बिथरी चैनपुर सीट से कांग्रेस के टिकट पर चुनाव लड़ा था। इससे पहले वह भाजपा में थीं। टिकट न मिलने पर कांग्रेस में शामिल हो गईं। चुनाव के दौरान भारी रकम खर्च करने की बात भी सामने आई थी। अलका व दिनेश की बेटी हार्वर्ड यूनिवर्सिटी में पढ़ रही हैं।


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