निशंक सरकार की विवादित 56 परियोजनाओं की व्यावहारिकता की होगी जांच, फाइलों में दफन प्रोजेक्ट,दरअसल, डॉ. रमेश पोखरियाल निशंक की सरकार में 56 जिल विद्युत परियोजनाओं का दो तरह से चिन्हीकरण किया गया था।
पहला सरकार के स्तर से जो आईआईटी रुड़की के माध्यम से हुआ था। दूसरा स्वयं के स्तर से। कई नदियों और गदेरों पर 56 जल विद्युत परियोजनाएं पहचान कर आवंटित कर दी गईं थीं।
इनका आवंटन विवादों में आ गया था, इसके बाद से यह प्रोजेक्ट फाइलों में दफन हैं। अब धामी सरकार इन परियोजनाओं की व्यावहारिकता (फिजिबिलिटी) जांच करने जा रही है। जो परियोजनाएं पैमानों पर खरी उतरेंगी। जिनका बनाना संभव होगा। उनका आवंटन नए सिरे से किया जाएगा। प्रदेश में जल विद्युत उत्पादन की अपार संभावनाओं के बीच लगातार सरकार प्रयास कर रही है।
फिजिबिलिटी चेक करने के बाद सरकार आवंटन करेगी
अलकनंदा व सहायक नदियों पर बनने वाले प्रोजेक्ट के लिए भी कवायद शुरू की थी, जिन पर अभी जल शक्ति मंत्रालय ने अड़ंगा लगाया हुआ है। किशाऊ परियोजनाओं के लिए भी संबंधित राज्यों के बीच समझौते की प्रक्रिया केंद्र सरकार के स्तर पर गतिमान है।
हिंदुस्तान ग्लोबल टाइम्स ,अवतार सिंह बिष्ट,जर्नलिस्ट फ्रॉम उत्तराखंड
यूजेवीएनएल के एमडी संदीप सिंघल ने बताया, 56 जल विद्युत परियोजनाएं जो पूर्व में पहचानी गईं थीं, उनकी फिजिबिलिटी चेक करने के बाद सरकार उनका आवंटन करेगी, ताकि जल विद्युत उत्पादन को नई जान मिले।