
विधानसभा चुनाव 2027 नजदीक देख 4 साल में पहली बार नगला की याद आई विधायक को, और अभी भी नगला का भला सोचने की बजाय नगलावासियों का मजाक उड़ा रहे हैं विधायक बेहड़!


✍️ अवतार सिंह बिष्ट | हिंदुस्तान ग्लोबल टाइम्स, रुद्रपुर ( उत्तराखंड राज्य निर्माण आंदोलनकारी
उक्त प्रतिक्रिया नगला गोल गेट पर आयोजित सभा में विधायक तिलक राज बेहड़ द्वारा पूर्व विधायक राजेश शुक्ला पर लगाए गए आरोपों पर पलटवार करते हुए पूर्व विधायक राजेश शुक्ला ने कहा कि नगला की जनता द्वारा निर्वाचित नगर पालिका अध्यक्ष एवं सभासद के कुमाऊं आयुक्त से मिलने को नौटंकी बताने वाले बेहड़ यदि वास्तव में नगला की समस्या से अवगत होते तो उन्हें पता होता की मंत्रिमंडलीय उप समिति द्वारा नगला की भूमि के चिन्हीकरण के लिए जो कमेटी बनाई गई है उसके अध्यक्ष कुमाऊं आयुक्त हैं और उनसे मिलना नौटंकी नहीं बल्कि नगला को बचाने के लिए उन्हें सही तथ्य बताना है।
शुक्ला ने कहा कि कांग्रेस ने आज तक नगला को बचाने नहीं, बल्कि उसे उजाड़ने के लिए हाईकोर्ट में अपने लोगों से रिट डलवाई थी, शुक्ला ने कहा कि 30 साल से विधायक एवं मंत्री रहते बेहड़ ने कभी नगला को राजस्व ग्राम अथवा नगर पालिका बनाने की याद नहीं आई!
शुक्ला ने कहा कि हाईकोर्ट से नगला को उजड़वाने का आदेश जारी कराने के बाद भी 4 साल से नगला को उजाड़ने में फेल हो जाने के बाद अब कांग्रेस के विधायक व नेताओं को अगले साल के अंत में होने वाले विधानसभा चुनाव का भूत सताने लगा है और इसलिए नगलावासीयो को गुमराह करने पहुंच गए।
शुक्ला ने कहा कि कांग्रेस के प्रत्याशी की उम्र कम थी या जानबूझकर जमानत जप्त हो जाने के भय से कम उम्र के प्रत्याशी का पर्चा भरवारा गया यह भी सोचनीय है, और क्या सातों सभासदों में से एक पर भी कांग्रेस को प्रत्याशी नहीं मिला? या एक भी सभासद क्यों नहीं जीता विचारणीय है?
शुक्ला ने कहा कि मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी एवं प्रदेश भाजपा सरकार के मंत्री सुबोध उनियाल एवं सौरभ बहुगुणा ने नगला को बचाने के लिए कमिश्नर कुमाऊं की अध्यक्षता में कमेटी बनाई है, जल्द ही कमिश्नर का दौरा होगा और किसी भी कीमत पर नगला को उजड़ने नहीं दिया जाएगा।
बेहड़ को दर्द है कि नगला नगर पालिका में अध्यक्ष एवं सभी सभासद भाजपा के क्यों जीते? उन्हें यह भी दर्द है कि हाई कोर्ट के आदेश के बावजूद नगला क्यों नहीं उजड़ा, बेहड़ ने नगर पालिका बनने पर भी विरोध किया था और अब नगला को उजाड़ने एवं कहीं और बसाने की मांग कर रहे हैं ताकि नगर पालिका खत्म हो जाए, उन्हें नगला की जनता की परवाह नहीं है, 4 साल में एक बार नगला की आवाज नहीं उठाई और अब चुनाव नजदीक देखकर नगला में घड़ियाली आंसू बहाने एवं लोगों को गुमराह करने पहुंच गए।

