गाजा पट्टी में करीब दो साल से जारी इजरायल और हमास के बीच युद्ध आखिरकार थम गया है। दोनों पक्षों के बीच हुए सीजफायर समझौते के तहत हमास ने सोमवार को इजरायल के 20 जीवित बंधकों को रिहा किया, जबकि इजरायल ने 1900 से अधिक फलस्तीनी कैदियों को आज़ाद किया है।

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यह समझौता उस समय लागू हुआ, जब अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप युद्धविराम और बंधक रिहाई समझौते का जश्न मनाने के लिए इजरायल पहुंचे।

पीएम मोदी की प्रतिक्रिया

हमास द्वारा बंधकों की रिहाई पर भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने खुशी जताई। उन्होंने कहा, ‘हम दो साल से अधिक की कैद के बाद सभी बंधकों की रिहाई का स्वागत करते हैं। उनकी स्वतंत्रता उनके परिवारों के साहस, राष्ट्रपति ट्रंप के अटूट शांति प्रयासों और प्रधानमंत्री नेतन्याहू के दृढ़ संकल्प का परिणाम है। हम क्षेत्र में शांति स्थापित करने के लिए राष्ट्रपति ट्रंप के ईमानदार प्रयासों का समर्थन करते हैं।’

✍️ अवतार सिंह बिष्ट | हिंदुस्तान ग्लोबल टाइम्स, रुद्रपुर ( उत्तराखंड राज्य निर्माण आंदोलनकारी

कैसे शुरू हुई थी जंग

यह संघर्ष 7 अक्टूबर 2023 को शुरू हुआ था, जब हमास ने इजरायल में घुसकर बड़े पैमाने पर हमला किया था। इस हमले में लगभग 1200 इजरायली नागरिक मारे गए थे, जबकि करीब 250 लोगों को बंधक बना लिया गया था और गाजा ले जाया गया था। इसके बाद इजरायल ने हमास के खिलाफ जवाबी कार्रवाई शुरू की, जो दो साल तक जारी रही। हमास नियंत्रित स्वास्थ्य विभाग के अनुसार, इस युद्ध में गाजा पट्टी में अब तक 67,000 से अधिक फलस्तीनी मारे गए हैं।

ट्रंप की इजरायल यात्रा

सीजफायर समझौते के बाद अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप सोमवार सुबह इजरायल पहुंचे। उन्होंने इजरायल की संसद ‘नेसेट’ को संबोधित किया और क्षेत्रीय व अंतरराष्ट्रीय नेताओं के साथ एक ‘शांति शिखर सम्मेलन’ की सह-अध्यक्षता की। इस सम्मेलन में अमेरिका और मिस्र के राष्ट्रपति भी शामिल हैं, जिनका उद्देश्य गाजा में दो साल से जारी संघर्ष को समाप्त कर स्थायी शांति स्थापित करना है।

पहली, गाजा पट्टी पर इजरायली कब्जे का स्थायी अंत, जिसकी अंतरराष्ट्रीय स्तर पर गारंटी होनी चाहिए। दूसरी, इजरायली बंदियों की रिहाई को इजरायली सेना की पूर्ण वापसी से जोड़ा जाए।

हमास के प्रमुख वार्ताकार खलील हया ने कहा कि हमास प्रतिनिधिमंडल मिस्र एक स्पष्ट लक्ष्य के साथ पहुंचा है, संघर्ष को तत्काल और स्थायी रूप से समाप्त करना तथा एक पारस्परिक कार्मिक विनिमय समझौते तक पहुंचना।

उन्होंने कहा कि हमास युद्ध समाप्त करने के लिए ‘सभी जिम्मेदारियां लेने को तैयार है’, लेकिन ‘इजरायल हत्याएं और नरसंहार जारी रखे हुए है’, जिससे वार्ता में प्रगति मुश्किल हो रही है।

खलील हया के अनुसार, हालिया इजरायल-फिलिस्तीन संघर्ष के दौरान इजरायल ने गाजा पट्टी में युद्धविराम के अपने वादे का दो बार उल्लंघन किया है, जिससे हमास के लिए उस पर भरोसा करना कठिन हो गया है।

उन्होंने यह भी कहा कि इजरायल को गाजा पट्टी पर अपना कब्जा हमेशा के लिए समाप्त करना होगा और इस दिशा में अमेरिका तथा क्षेत्रीय देशों को सच्ची गारंटी देनी चाहिए ताकि युद्धविराम स्थायी रूप से लागू हो सके।


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