
*दुर्गाष्टमी ,नवमी तथा कन्या पूजन 2024*दुर्गाष्टमी तिथि प्रारंभ 10 अक्टूबर 2024 अपराह्न 12:33 से 11 अक्टूबर 2024 दिन शुक्रवार अपराह्न 12:08 तक। तत्पश्चात नवमी तिथि प्रारंभ होगी। इस बार दुर्गाष्टमी,नवमी पर सर्वार्थ सिद्धि योग का निर्माण हो रहा है जिसमें सभी प्रकार के मांगलिक कार्य अति शुभ माने गए हैं।हिंदुस्तान Global Times/print media,शैल ग्लोबल टाइम्स,अवतार सिंह बिष्ट, रुद्रपुरदुर्गाष्टमी उपवास का विशेष महत्व होता है। जिन जातकों ने केवल प्रथम नवरात्र का उपवास रखा हो, उन्हें दुर्गाअष्टमी का उपवास अवश्य रखना चाहिए।हिंदुस्तान Global Times/print media,शैल ग्लोबल टाइम्स,अवतार सिंह बिष्ट,दुर्गाष्टमी पर्व पर महागौरी स्वरुप की आराधना की जाती है।
*दुर्गाष्टमी का महत्त्व*
धार्मिक मान्यता अनुसार भगवान शंकर से विवाह करने हेतु देवी पार्वती ने कई वर्षों तक कठोर तप किया, जिससे उनके शरीर का रंग काला पड़ गया। जब भगवान शंकर उनकी तपस्या से प्रसन्न हुए तो उन्होंने देवी पार्वती को गौर वर्ण का वरदान दिया। इससे मां पार्वती महागौरी भी कहलाईं। दुर्गाष्टमी का उपवास करने से व्यक्ति को सुख,समृद्धि, सौभाग्य की प्राप्ति होती है
*नवमी का महत्व*
नवरात्रि का नौवां दिन देवी सिद्धिदात्री को समर्पित है। मां भगवती ने नौवें दिन देवताओं और भक्तों के सभी वांछित मनोरथों को सिद्ध किया, जिससे मां सिद्धिदात्री के रूप में सम्पूर्ण विश्व में विख्यात हुई। परम करूणामयी सिद्धिदात्री की पूजा अर्चना से भक्तों के सभी कार्य सिद्ध होते हैं, सभी बाधाएं समाप्त होती हैं एवं सुख व मोक्ष की प्राप्ति होती है।



