


यह पवित्र हिंदू तीर्थ स्थल बद्रीनाथ से शुरू होकर केदारनाथ और हेमकुंड साहिब के पवित्र मंदिरों से होकर गुजरता है और अंत में तराई क्षेत्र में रामनगर और कोटद्वार तक पहुंचता है. हेमवती नंदन बहुगुणा जैसे दिग्गज नेताओं की वजह से यह सीट काफी मशहूर है. लेकिन, साल 1991 से भारतीय जनता पार्टी का इस सीट पर दबदबा रहा है.


पौड़ी गढ़वाल एक हिल स्टेशन है जो आंशिक रूप से गंगा के मैदान और आंशिक रूप से निचले हिमालय में स्थित है. उत्तराखंड का यह जिला 5230 वर्ग किलोमीटर में फैला हुआ है. पौड़ी गढ़वाल लोकसभा सीट के अंतर्गत 14 विधानसभा सीटें आती हैं. ये 14 सीटें उत्तराखंड के पांच जिलों में फैली हुई हैं: चमोली, गढ़वाल, नैनीताल, रुद्रप्रयाग और टिहरी गढ़वाल. इस लोकसभा सीट के अंतर्गत आने वाली विधानसभा सीटों में बद्रीनाथ, कर्णप्रयाग, थराली, राम नगर, चौबट्टाखाल, कोटद्वार, लैंस डाउन, पौड़ी, श्रीनगर, यमकेश्वर, केदारनाथ, रुद्रप्रयाग, देव प्रयाग और नरेंद्रनगर शामिल हैं.
पौड़ी गढ़वाल जिला पर्यटकों के बीच अपनी लोकप्रियता के लिए जाना जाता है. यहां का प्राकृतिक वातावरण, घाटियां, पर्वत शिखर और प्राकृतिक सुंदरता पर्यटकों के लिए मुख्य आकर्षण हैं. इस क्षेत्र में स्थित प्राचीन मंदिर भी बड़ी संख्या में भक्तों को आकर्षित करते हैं. उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ मूल रूप से इसी क्षेत्र के हैं. इसके अलावा भारत के 5वें राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल और स्वतंत्रता सेनानी तथा लैंसडाउन विधानसभा से पहले निर्वाचित सदस्य राम प्रसाद नौटियाल भी पौड़ी गढ़वाल के ही निवासी थे.
2014 के लोकसभा चुनाव में पौड़ी गढ़वाल संसदीय क्षेत्र में कुल 12,69,083 मतदाता थे. पिछले आम चुनाव में इस संसदीय क्षेत्र में 6,52,891 पुरुष मतदाता और 6,16,192 महिला मतदाता थे. चुनाव आयोग के आंकड़ों से पता चलता है कि 2017 के विधानसभा चुनाव के दौरान इस निर्वाचन क्षेत्र में मतदाताओं की संख्या बढ़कर लगभग 14 लाख हो गई थी. पौड़ी गढ़वाल लोकसभा सीट से मेजर जनरल भुवन चंद्र खंडूरी, डॉ. हरक सिंह रावत, टीपीएस रावत, तीरथ सिंह रावत, मनीष खंडूरी और सतपाल महाराज जैसे दिग्गज चुनाव लड़ चुके हैं.
2019 चुनाव के नतीजे
2019 के लोकसभा चुनाव में इस सीट पर भाजपा प्रत्याशी तीरथ सिंह रावत 5,06,980 वोट पाकर विजयी हुए थे, जबकि कांग्रेस प्रत्याशी मनीष खंडूरी को 2,04,311 वोट मिले थे और कुल 12,276 मतदाताओं ने नोटा का विकल्प चुना था.
2014 चुनाव के नतीजे
2014 में मोदी लहर के दौरान उत्तराखंड के पूर्व सीएम भुवन चंद्र खंडूरी ने इस सीट पर महत्वपूर्ण जीत दर्ज की थी. बीसी खंडूरी ने अपने निकटतम प्रतिद्वंद्वी कांग्रेस के हरक सिंह रावत को 1,84,526 वोटों के अंतर से हराया था. खंडूरी को 4,05,690 वोट मिले थे, जबकि हरक सिंह रावत को 2,21,164 वोट मिले थे. 2014 के आम चुनावों के दौरान इस सीट पर 53.74 प्रतिशत मतदान हुआ था.
