Uttarakhand: प्राइवेट सेक्टर में कुशल पेशेवरों के लिए रोजगार की अपार संभावनाएं हैं। सरकार का जोर भी निजी क्षेत्र में नौकरियां बढ़ाने पर है, लेकिन कर्मचारी एक ही कंपनी में लंबे समय तक नहीं टिक रहे हैं।

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कुमाऊं मंडल में निजी सेक्टर में कार्यरत 120 कर्मचारी रोजाना नौकरी छोड़ रहे हैं। कर्मचारी भविष्य निधि क्षेत्रीय कार्यालय में आए अंतिम भुगतान दावों (फाइनल सेटलमेंट) से इसकी पुष्टि हुई है।

क्षेत्रीय ईपीएफ कार्यालय में चालू वित्तीय वर्ष में आठ माह के भीतर 28,959 से अधिक सदस्यों ने फाइनल सेटलमेंट के लिए फार्म-19 के अंतर्गत आवेदन किया है। मासिक औसत देखें तो 3619 कर्मचारियों ने नौकरी छोड़ने के बाद आवेदन किया है, जबकि पूरी भविष्य निधि निकालने को रोजाना औसतन 120 से 121 आवेदन प्राप्त हो रहे हैं।

इधर, अप्रैल से अभी तक किए गए आवेदनों की जांच के बाद 21601 का फाइनल सेटलमेंट स्वीकृत कर 123.69 करोड़ रुपये का भुगतान किया गया है। ऐसे में प्रति माह औसतन 2700 कर्मचारियों को उनके दावे के अनुसार कर्मचारी और नियोक्ता अंशदान की जमा धनराशि जारी की जा रही है। वहीं, अधिकारियों के अनुसार फार्म-19 के तहत आवेदन करने वाले अधिकांश सदस्य ऐसे हैं जो एक नौकरी छोड़ दूसरी जगह ज्वाइन करते हैं।

दो वर्षों से नौकरी छोड़ने वालों का अनुपात एक समान

कुमाऊं में निजी क्षेत्र के कर्मचारियों के नौकरी छोड़ने का अनुपात पिछले दो वर्ष से लगभग समान है। वित्तीय वर्ष 2022-23 और 2023-24 में प्रतिदिन औसतन 120 कर्मचारियों ने नौकरी छोड़कर फार्म-19 के अंतर्गत अंतिम भुगतान का दावा किया है। ऐसी स्थिति दो वर्ष पहले से बनी हुई है। जबकि वर्ष 2021-22 में फाइनल सेटलमेंट के औसतन 145 आवेदन प्रतिदिन क्षेत्रीय ईपीएफ कार्यालय को प्राप्त हुए थे।

नौकरी छोड़ने के दो माह बाद कर सकते हैं आवेदन

ईपीएफ से जुड़े कर्मचारी अगर कंपनी से इस्तीफा देते हैं तो नौकरी छोड़ने के दो माह बाद फाइनल सेटलमेंट के लिए आवेदन कर सकते हैं। इसमें पीएफ खाते में जमा रकम निकालने के लिए फार्म-19 के अंतर्गत आवेदन करना होता है। आवेदन की जांच के बाद ही भुगतान किया जाता है।

नई नौकरी ज्वाइन करने पर ट्रांसफर करा लें रकम

क्षेत्रीय ईपीएफ आयुक्त आदित्य साह ने बताया कि सदस्यों के फाइनल सेटलमेंट के आवेदनों की जांच के बाद न्यूनतम समय में भुगतान किया जा रहा है।

साथ ही सलाह दी है कि अगर एक संस्थान छोड़ कर दूसरे में नौकरी ज्वाइन करते हैं तो पूर्व में जमा पूरी धनराशि निकालना उचित नहीं है, बल्कि धनराशि को नए खाते में ट्रांसफर करवा लें, क्योंकि बैंकों की बचत योजनाओं अधिक ब्याज ईपीएफओ की ओर से दिया जाता है।

साथ ही यहां रकम रखे रहने पर किसी प्रकार का टैक्स भी नहीं पड़ता है। हालांकि, अगर नौकरी छोड़ कर दूसरी जगह ज्वाइन नहीं की है तो कंपनी छोड़ने के दो माह बाद पूरी धनराशि निकाल सकते हैं।

पीएफ अंतिम भुगतान को चार वर्ष में हुए आवेदनों की स्थिति

  • वर्ष – आवेदन – स्वीकृति – भुगतान (करोड़)
  • 2021-22 – 53175 – 31865 – 152.16
  • 2022-23 – 43386 – 28013 – 142.50
  • 2023-24 – 43676 – 28358 – 156.61
  • 2024-25 – 28959 – 21601 – 123.69 (अभी तक) (स्रोत: कर्मचारी भविष्य निधि क्षेत्रीय कार्यालय)

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